थाना सेक्टर-39 पुलिस व साइबर टीम पुलिस द्वारा बी0ओ0 आई0पी0 कॉल, टी0एफ0एन0 व सोफ्टफोन के माध्यम से विदेशों में रह रहे व्यक्तियों के साथ ऑनलाइन धोखाधडी करने वाले गैंग का पर्दाफाश करते हुए 14 अभियुक्त गिरफ्तार, कब्जे से घटना में प्रयुक्त 18 लैपटॉप, 01 इण्टरनेट राउटर, 02 इन्टरनेट नेटवर्क स्विच, 04 चार पहिया वाहन व 17 हेडफोन बरामद
सुन्दर लाल शर्मा गौतम बुद्ध नगर
दिनांक 07.03.2024 को थाना सेक्टर-39 पुलिस व साइबर टीम गौतमबुद्वनगर के द्वारा सयुंक्त रूप से कार्रवाई करते हुए ए-66, सेक्टर-108, नोएडा से बी0ओ0आई0पी0 कॉल, टी0एफ0एन0 व सोफ्टफोन के माध्यम से विदेशों में रह रहे व्यक्तियों के साथ ऑनलाइन धोखाधडी करके अनाधिकृत रुप से अवैध पैसा कमाने वाले गैंग के 14 अभियुक्तों गिरफ्तार किया गया है।

अभियुक्तों के कब्जे से घटना में प्रयुक्त 18 लैपटॉप, 01 इण्टरनेट राउटर, 02 इन्टरनेट नेटवर्क स्विच, 04 चार पहिया वाहन व 17 हेडफोन बरामद किये गये है।
*पूछताछ का विवरणः*
पूछताछ पर अभियुक्तों द्वारा बताया गया कि कम्पयूटर से कंप्यूटर रिमोट डेस्कटॉप एप्प के माध्यम से आईबिम साफ्टवेयर से हमारे कॉल सेंटर मे लगे सिस्टम पर लैंड कराते है। उस कॉल को हमारे कॉल सेंटर पर पूर्व से एक्टिव कॉलर कॉल रिसीव करते है तथा अपने आप को विदेशी कम्पनी का प्रतिनिधि प्रदर्शित करते हुए उनकी समस्या का जल्द समाधान का आश्वासन देते है तथा हमारी कम्पनी मे काम करने वाले कर्मचारी उन लोगो को बोलते है कि आपका सिस्टम हेक तथा आईपी एड्रेस कम्प्रोमाईज्ड हो गया है।

इस समस्या के समाधान हेतु हम उनके सिस्टम को ऐनीडेस्क साफ्टवेयर से कनेक्ट कर उनके सिस्टम में आ रही असुविधा को हल करने के नाम पर चार्ज हेतु विभिन्न कम्पनी एमेक्स, अमेजन, एप्पल, गूगल प्ले, गेमस्टाप, सिपोराह, नोर्ड स्टरोम आदि गिफ्ट कार्ड 100-500 डॉलर कीमत के लेते है। इन्टरनेट का प्रयोग कर के वॉइप कॉल के माध्यम से विदेशी नागरिकों से कंप्यूटर में तकनीकी कमी, पोर्नोग्राफिक कंटेंट व एंटीवायरस न होने कारण सिस्टम हैक होने की बात कह कर उनका कंप्यूटर रिमोट डेस्कटॉप एप्प से कंट्रोल कर लेते थे तथा कंप्यूटर खराब/हैक होने का भय दिखा कर ठीक करने के नाम पर उनसे गिफ्ट कार्ड/क्रिप्टो करेंसी व वायर ट्रान्सफर के माध्यम से पैसे मंगवाते थे, गिफ्ट कार्ड/क्रिप्टो करेंसी व वायर ट्रान्सफर करा लेते है।
*अपराध करने का तरीकाः*
अभियुक्तों द्वारा विदेशी नागरिकों के कम्प्यूटर पर फर्जी लिंक भेजकर उनके सिस्टम को हैक करके उसी लिंक में टैक सपोर्ट हेतु एक फर्जी हैल्पलाइन नम्बर प्रदर्शित कर देते हैं, जिससे उपभोक्ता परेशान होकर प्रदर्शित हेल्पलाइन नम्बर पर कॉल करता है। इसी फर्जीवाड़े से जुड़े नेटवर्क के लोगों द्वारा ऐसे उपभोक्ताओं के कॉल को अभियुक्तों को ट्रांसफर कर दिया जाता है। अभियुक्तों द्वारा सिस्टम की कमी को दूर करने के नाम पर विदेशी नागरिकों के सिस्टम का कन्ट्रोल ऐनी डेस्क आदि एप्लीकेशन्स का प्रयोग करते हुए पीड़ित से सिस्टम की कमी को दूर करने के नाम पर ऑनलाइन धोखाधड़ी की जाती है।









